मायावती ने की सपा के ‘पीडीए’ माडल की व्याख्या

लखनऊ।  लोकसभा चुनाव से पहले पिछड़े,दलित और अल्पसंख्यकों को लुभाने के समाजवादी पार्टी (सपा) के प्रयास पर प्रहार करते हुये बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती ने कहा कि परिवारवाद की पोषक सपा का इन वर्गो की परेशानियों से कोई सरोकार नहीं है और पीडीए (पिछड़े,दलित,अल्पसंख्यक) का राग तुकबंदी के सिवाय और कुछ नहीं है।

मायावती ने सोमवार को ट्वीट किया “ सपा द्वारा एनडीए के जवाब में पीडीए (पिछड़े, दलित, अल्पसंख्यक) का राग, इन वर्गों के अति कठिन समय में भी केवल तुकबन्दी के सिवाय और कुछ नहीं। इनके पीडीए का वास्तव में अर्थ परिवार, दल, एलाइन्स है जिस स्वार्थ में यह पार्टी सीमित है। इसीलिए इन वर्गों के लोग जरूर सावधान रहें।”

गौरतलब है कि सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने पिछले शनिवार को कहा था कि भाजपा नीत राजग को अगले साल के आम चुनावों में ‘पीडीए’ हरायेगा। पीडीए को उन्होंने ‘पिछड़े दलित और अल्पसंख्यक के रूप में परिभाषित किया था। श्री यादव ने दावा किया था कि अगर बड़े राष्ट्रीय दलों ने साथ दिया तो लोकसभा चुनाव में यूपी में भाजपा का सफाया तय है।

भीषण गर्मी के बीच उत्तर प्रदेश के कुछ जिलों में बिजली की समस्या को लेकर सुश्री मायावती ने कहा “ यूपी में पिछले कई दिनों से जारी भीषण गर्मी की आफत में राजधानी लखनऊ सहित पूरे प्रदेश में बिजली की ज़बरदिस्त कमी ने लोगों का जीवन त्रस्त कर रखा है, जिससे बलिया व अन्य ज़िलों से मौत की खबरें अति-दुःखद। सरकार बिजली व्यवस्था तुरन्त सुधारे तथा अस्पतालों आदि में बिजली कटौती न करे।

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